कल सुबह सुबह दिल्ली से मेरे मित्र का फोन आया और उसने कहा - तुझे पता है आज के हिन्दुस्तान में तेरे ब्लॉग के बारे में आया है और तेरे ब्लॉग की अच्छी समीक्षा की है रवीश जी ने। उसकी बात सुन के मुझे बेहद खुशी हुई। अभी मैं कुछ और करती ही कि एक मित्र का और भी फोन आ गया और सीधे बोले - और भई विनीता जी ! आज के हिन्दुस्तान में तो नैनीताल ही छाया हुआ है। आपका ब्लॉग भी हिन्दुस्तान में आ गया। अभी तक तो मैं पेपर भी नहीं देख पाई थी इसलिये मेरी उत्सुकता बढ़ गयी थी। ऑफिस जाते समय मैंने बाजार से पेपर लिया और ऑफिस मैं जा के पढ़ा तो वाकय में पढ़ के अच्छा लगा। उससे भी ज्यादा खुशी तब हुई जब मेरे साथ वालों ने और सर ने मेरी और मेरे ब्लॉग की तारीफ की।
इस तारीफ का बहुत बड़ा हिस्सा उन सब लोगों का भी है जो मेरे ब्लॉग को पढ़ते हैं, मुझे टिप्पणी करके मेरा हौंसला बढ़ाते हैं और नये-नये सुझाव भी देते हैं जिस कारण मैं ब्लॉग को बेहतर बनाने की कोशिश कर पाती हूं।
बहुत बहुत बधाई विनीता जी
ReplyDeletebadhayi ho aapko
ReplyDeleteशुभकामनाएं अनंत।
ReplyDeletebadhi hoo aapko.
ReplyDeleteबधाई हो. यह सचमुच में गर्व की बात है.
ReplyDeleteबहुत बधाई आपको .
ReplyDeleteबहुत बधाई जी आपको. वाकई बहुत लाजवाब स्मीक्षा की गई है आपके ब्लाग की.
ReplyDeleteऔर वो भी झूंठी नही बल्कि आपका लेखन ही ऐसा है कि तारीफ़ तो करनी ही पडेगी. बहुत बधाई और शुभकामनाएं. और भी अच्छे से लिखिये.
रामराम.
badhai ho is khushkhabri ke liye.
ReplyDeleteबड़ी प्रसन्नता हुई यह जानकार. बधाईयाँ.
ReplyDeleteबहुत बहुत बधाई.
ReplyDeleteबेहद खुशी हुई.
badhayi ho ji.. :)
ReplyDeleteBahut Bahut Badhai Vinneta aapko...
ReplyDeleteAcche blog ki sarahna to honi hi thi. Badhai.
ReplyDeleteबधाई।
ReplyDeleteBahut achhi news di hai apne.
ReplyDeletebahut bahut badhai.
बधाई हो बधाई। तारीफ सुनके बहे नहीं, बहके नहीं - सार्थक लेखन जारी रखे, इसी प्रार्थना के साथ:)
ReplyDeleteबधाई
ReplyDeleteकामना है कि आपका यश इसी तरह चारों दिशाओं में फैले। बधाई।
ReplyDeleteवाह वाह!! बहुत बहुत बधाई और अनेक शुभकामनाऐं.
ReplyDeleteबहुत बहुत बधाई और शुभकामनाएं।
ReplyDeleteबहुत बधाई और शुभकामनाएं.
ReplyDeleteबधाई...बारम्बार बधाई...
ReplyDeleteनीरज
बढ़िया ....तो ऐसा कीजिये अब एक चकाचक पोस्ट लिख डालिए फ़ौरन मन को हरने वाली सी....
ReplyDeleteउज्जवल भविष्य के लिए शुभकामनाएं।
ReplyDeleteअरे विनीता जी, हम ठलुवों का तो काम ही यही है. आखिर हमें भी तो सुशील जी ने खबर की थी. इस तरह की खबरें मिलना वाकई अजीब अनुभव होता है. मन फुटों मीटरों नहीं, मीलों कूदता है. देखते हैं अगले बुधवार को रविश जी किसकी समीक्षा करते हैं.
ReplyDeleteबधाई हमारी तरफ़ से भी !
ReplyDeleteबहुत बहुत बधाई विनीता जी
ReplyDeleteaap ko aaj kaa bhagoriya parv achchha laga yah jaankar khushi hui
manaali ilaake kaa parv
naaglok me ek din pahle kabhi likhaa tha use dhoondhkar jaroor padhen
koi baat mujhse chhut gai ho to bataae kyonki me sirf ek baar naggar ke is ilaake me gayaa hun
हमारी तरफ से भी बहुत बहुत बधाई
ReplyDeleteBadhyee aapko !!
ReplyDeletevinita, bahut bahut badhai ho
ReplyDeleteबड़ी प्रसन्नता हुई यह जानकार. बधाईयाँ.
ReplyDeleteएक बार फिर से बधाई स्वीकारें।
ReplyDeleteमेरी बधाई कहाँ खो गई ? फिर से स्वीकारें।
ReplyDeleteघुघूती बासूती
प्रिय विनीता यशस्वी,
ReplyDeleteजब आप इतने अच्छे ढंग से लिखेंगी तो लोग पसंद तो करेंगे ही, समाचार पत्र भी नोटिस करने लगेंगे। मेरे घर में भी हिन्दुस्तान अखवार आता है और वह टिप्पणी मैने भी पढ़ी थी, बहुत अच्छा भी लगा था, विशेषकर इस लिये कि आप मेरे ब्लॉग www.sushantsinghal.blogspot.com पर अक्सर आती हैं और मेरे प्रयासों को सकारात्मक पाती हैं। स्वाभाविकतः मुझे लगता है कि जैसे मैं आपको जानता हूं।
समाचार पत्र खुद अपनी ओर से आपके लेखन को नोटिस करें और प्रकाशित करने लगें तो निश्चय ही अच्छा लगता है। पिछले सप्ताह ही मेरे एक मित्र ने मुझे भी बधाई दी कि दैनिक अमर उजाला ने मेरे ब्लॉग पर प्रकाशित पोस्ट को जस-का-तस प्रकाशित कर दिया है। मैने तारीख जाननी चाही तो वह बोला - लगभग दस दिन पहले! मैं एक पब्लिक लायब्रेरी में गया जिसमें मैं पहले कभी नहीं गया था, बेतरतीब ढंग से पड़े अखवारों के ढेर में से अमर उजाला ढूंढे। जब खोज अन्ततः सफल हुई तो वहां व्यवस्थापक महोदय से प्रार्थना की कि उस पृष्ठ को ले जाने की अनुमति दें। उन्होंने कारण पूछा तो उस पृष्ठ पर प्रकाशित अपनी पोस्ट उनको दिखाई। पूरा आलेख पढ़ने के बाद उन्होंने बधाई दी और अखवार ले जाने की सहर्ष अनुमति दे दी!
एक बार पुनः बधाई स्वीकार करें। हम सब चिठ्ठाकार एक ही नाव के यात्री हैं।
सुशान्त सिंहल
www.sushantsinghal.blogspot.com
vinita ji aapke blog ke baare me hinustan me padkar khushi hui. meri taraf se aapko badhayi
ReplyDeleteइस उपलब्धि के लिए आपको बहुत बहुत बधाई .. आपको होली की भी ढेरों शुभकामनाएं...
ReplyDeleteबहुत बधाई यशस्वी जी । मैने भी पढ़ा था । खैर आपने बहुत बढ़िया भी लिखा है नैनीताल शहर के बारे में । हिन्दुस्तान में नाम आने पर आपको बधाई ।
ReplyDeletewebduniya मुख पृष्ठ>>फोटो गैलरी>>धर्म संसार>>त्योहार>> होली के रंग भगोरिया के संग ! (Holi - Bhagoriya Festival Photogallery)
ReplyDeletelog on kare aur
bhagoriyaa ke drushyo se avgat ho le
wow! congrats ! thats great!
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